Aapna Bihar

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यह पेज बिहार का है। बिहारियों का अपना पेज, जहां सिर्फ बिहार और बिहारियों की बात होती है। बिहारी स्मिता आपन बिहार का विचारधारा है और बिहार का खोया स्वाभिमान लौटना ही इसका मकसद है। हम किसी राजनीतिक पार्टी या विचारधारा का समर्थन नहीं करते। हम सिर्फ बिहार का समर्थन करते है।

वाह ताज!Patna me ban k taiyar hai Hotel TAJ.
02/07/2024

वाह ताज!

Patna me ban k taiyar hai Hotel TAJ.

"आम के बिना गर्मी अधूरी"
02/07/2024

"आम के बिना गर्मी अधूरी"

C.H.A.M.P.I.O.N.S  🏆🥇  HAVE DONE IT!ICC Men's T20 World Cup 2024 Champions   |
29/06/2024

C.H.A.M.P.I.O.N.S 🏆🥇

HAVE DONE IT!

ICC Men's T20 World Cup 2024 Champions

|

29/06/2024

इस वीडियो में डॉ. सनोज राज बता रहे हैं कि 100 साल तक जीने के लिए अपनाएं ये नुस्खे।।

यदि आप किसी भी प्रकार की हृदय संबंधी समस्या से पीड़ित हैं, तो उपचार के लिए हमसे संपर्क करें

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Dr. Sanoj Raj
AIMU-MD
EX-RESIDENT- AIIMS(NEW DELHI)

Nitish Kumar's Party demands 'SPECIAL STATUS CATEGORY' for Bihar in its New Resolution. How you see this move by the JDU...
29/06/2024

Nitish Kumar's Party demands 'SPECIAL STATUS CATEGORY' for Bihar in its New Resolution.
How you see this move by the JDU?

बिहार में आद्रा नक्षत्र के साथ ही बारिश का आगमन माना जाता है। आद्रा नक्षत्र को जीवनदायनी कहा गया है। इसके आगमन से धरती औ...
26/06/2024

बिहार में आद्रा नक्षत्र के साथ ही बारिश का आगमन माना जाता है। आद्रा नक्षत्र को जीवनदायनी कहा गया है। इसके आगमन से धरती और किसान दोनों को राहत मिलती है.

बिहार का काशी - अरेराज धाम 🙏🌹🌺🔱📿
23/06/2024

बिहार का काशी - अरेराज धाम 🙏🌹🌺🔱📿

In response to Murari Jha's op-ed in  titled, "Swanky Buildings and ‘Net Zero’ Academics is Modi’s Model for Nalanda Uni...
22/06/2024

In response to Murari Jha's op-ed in titled, "Swanky Buildings and ‘Net Zero’ Academics is Modi’s Model for Nalanda University", I find it necessary to address the skepticism surrounding Nalanda University's revival. While criticism is healthy, let's explore why this initiative deserves more than mere cynicism.

1. The Uncertainty Fallacy:

Jha's assertion that Nalanda University is an "uncertain project" lacks nuance. Every ambitious endeavor carries risks, but that doesn't render it futile. The uncertainty lies not in the project itself but in our ability to execute it effectively. Let's focus on mitigating risks rather than dismissing the entire venture.

2. Investment in Bihar's Progress:

, despite its historical significance, grapples with socio-economic challenges. University isn't a frivolous expense; it's an investment in Bihar's intellectual and economic growth. By nurturing talent, fostering research, and promoting innovation, it can uplift the state.

3. Beyond Swanky Buildings:

Yes, the media showcases the campus aesthetics, but that's only part of the story. Nalanda's purpose extends beyond architecture. It aims to create a vibrant academic ecosystem, attracting scholars, researchers, and students. Let's appreciate both form and substance.

4. So called Net-Zero:

The net-zero concept isn't mere greenwashing. It reflects our commitment to sustainability. Nalanda educates students about environmental stewardship, influencing future leaders. A campus that balances aesthetics with eco-consciousness benefits Bihar and the planet.

5. Media's Role:

Jha's criticism highlights media's responsibility. Blind worship or relentless negativity harms democracy. Let's encourage informed discourse. Constructive questions are essential, but let's avoid undermining transformative initiatives.

isn't uncertain; it's a beacon of hope. Bihar deserves quality education, and this project aligns with that vision. Let's critique with purpose, recognizing that progress requires bold steps. Nalanda isn't just about buildings; it's about Bihar's resurgence.

- (personal opinion)

एनटीपीसी कहलगांव बिहार की पहली गियोपोलिमर सड़क का  निर्माण करवाया है। इस सड़क की खास बात है  कि इसमें  सीमेंट का उपयोग न...
22/06/2024

एनटीपीसी कहलगांव बिहार की पहली गियोपोलिमर सड़क का निर्माण करवाया है। इस सड़क की खास बात है कि इसमें सीमेंट का उपयोग नहीं किया गया है। एनटीपीसी के नारायणपुर गेट से एमजीआर सर्विस रोड तक 2.9 किलोमीटर लंबी सड़क में 2000 मीट्रिक टन फ्लाई ऐश और स्टील प्लांट्स से प्राप्त ग्राउंड ग्रैन्युलेटेड ब्लास्ट फर्नेस स्लैग्स (जीजीबीएस ) का इस्तेमाल किया गया है। इन सामग्री को सोडियम हाइड्रॉक्साइड और सोडियम सिलिकेट जैसे रसायनों के साथ मिलाकर सड़क बनाई गई है। यह तरीका पर्यावरण-अनुकूल है। इससे ग्रीनहाउस गैस का उत्सर्जन कम होता है। इसके साथ यह आम सड़क से ज्यादा टिकाऊ भी है।

राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) को उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश/फेलोशिप के लिए प्रवेश परीक्षा आयोजित करने के लिए एक...
20/06/2024

राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) को उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश/फेलोशिप के लिए प्रवेश परीक्षा आयोजित करने के लिए एक प्रमुख, विशेषज्ञ, स्वायत्त और आत्मनिर्भर परीक्षण संगठन के रूप में स्थापित किया गया है। ....मगर एनटीए इनमें से कोई भी उद्देश्य पूरा करने में नाकाम रहा है। पेपर लीक और बार - बार परीक्षा रद्द करवाकर एनटीए ने अपनी पुरी विश्वनीयता खो दी है।

पटना शहर के बाद अब आने वाले दिनों में गया, मुजफ्फरपुर, दरभंगा और भागलपुर में भी मेट्रो का परिचालन संभव होगा। गुरुवार को ...
20/06/2024

पटना शहर के बाद अब आने वाले दिनों में गया, मुजफ्फरपुर, दरभंगा और भागलपुर में भी मेट्रो का परिचालन संभव होगा। गुरुवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में इस प्रस्ताव को सैद्धांतिक स्वीकृति दी गई।

मंत्रिमंडल की बैठक के बाद कैबिनेट के अपर मुख्य सचिव एस सिद्धार्थ ने बताया कि अब इसके लिए पहले फिजिबिलिटी रिपोर्ट तैयार होगी। इसके बाद डीपीआर बनेगा।

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पटना हाई कोर्ट कोर्ट से झटका लगा है.पटना हाई कोर्ट ने बिहार सरकार की ओर से 2023 में ...
20/06/2024

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पटना हाई कोर्ट कोर्ट से झटका लगा है.

पटना हाई कोर्ट ने बिहार सरकार की ओर से 2023 में पारित आरक्षण कोटा बढ़ाने के संशोधन पर रोक लगा दी है.

बिहार सरकार ने साल 2023 में अत्यंत पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (एससी/एसटी) के लिए आरक्षण बढ़ाकर 50 से 65 प्रतिशत कर दिया था.

अनिल अग्रवाल, वेदांता रिसोर्सेज लिमिटेड के संस्थापक और दूसरी हैं मैथिली ठाकुर, प्रसिद्ध गायिका. ये दोनो बिहार से है और ब...
20/06/2024

अनिल अग्रवाल, वेदांता रिसोर्सेज लिमिटेड के संस्थापक और दूसरी हैं मैथिली ठाकुर, प्रसिद्ध गायिका. ये दोनो बिहार से है और बिहार का नाम अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बढ़ाया है.
बिहार को ऐसे और लोगों कि जरूरत है जो बिहार को एक अलग पहचान दिला सकें.
फोटो:

Some glimpses of the New Nalanda University 🎉😍🤩
19/06/2024

Some glimpses of the New Nalanda University 🎉😍🤩

बिहार की प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय के भग्नावशेष को देखने पहुंचे माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी. यदि आपको भी दे...
19/06/2024

बिहार की प्राचीन नालंदा विश्वविद्यालय के भग्नावशेष को देखने पहुंचे माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी. यदि आपको भी देश की प्राचीन ज्ञान परंपरा को समझना हो तो जरूर आइए बिहार. यहां नालंदा, विक्रमशिला और तिलाधक विश्वविद्यालय के भग्नावशेष बताते हैं कि कैसे भारत वैश्विक ज्ञान पटल पर अग्रणी था.
पोस्ट साभार:

फिर हुआ बिहार की अनदेखी- कृषि सखी योजना के पहले चरण में बिहार का नाम नहीं!!30 अगस्त, 2023 को कृषि और किसान कल्याण मंत्रा...
19/06/2024

फिर हुआ बिहार की अनदेखी- कृषि सखी योजना के पहले चरण में बिहार का नाम नहीं!!

30 अगस्त, 2023 को कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय और ग्रामीण विकास मंत्रालय ने मिलकर कृषि सखी समन्वय कार्यक्रम (KSCP) के लिए एमओयू साइन किया था। Krishi Sakhi Yojana सरकार की महिला लखपति योजना से जुड़ा हुआ है। महिला लखपति योजना का लक्ष्य 3 करोड़ “लखपति दीदी” या एक लाख रुपये से अधिक कमाने वाली महिलाओं को तैयार करना है। कृषि सखी कार्यक्रम इस पहल का प्रारंभिक बिंदु है। यह कृषि से जुड़ी महिलाओं को प्रशिक्षण और प्रमाणन प्रदान करने पर केंद्रित है। इस कार्यक्रम के माध्यम से, ये महिलाएँ “कृषि पैरा-विस्तार सहायक” बनेंगी, जो लखपति दीदी योजना के लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद करती हैं।

इस योजना का पहला चरण लॉन्च कर दिया गया है। मगर इस योजना में भी लगता है कि देश का सबसे गरीब और पिछड़ा राज्य बिहार केंद्र सरकार के प्राथमिकता में नहीं है। वो भी तब, जब केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री बिहारी है और वर्तमान केंद्र सरकार जदयू के समर्थन से बनी है।

पहले चरण में इसे 12 राज्यों में शुरू किया गया है। ये राज्य हैं गुजरात, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, कर्नाटक, महाराष्ट्र, राजस्थान, ओडिशा, झारखंड, आंध्र प्रदेश और मेघालय है।

सवाल है बिहार क्यों नहीं है? क्या बिहार केंद्र सरकार के प्राथमिकता में नहीं है या कोई और बात है?

क्या बिहार के किसान सबसे अच्छी स्थिति में हैं? क्या बिहार के किसानों की आय बाकी राज्यों से अधिक है? क्या बिहार में कृषि क्षेत्र तेजी से प्रगति कर रहा है? क्या बिहार के किसानों को इस योजना कि जरूरत नहीं है? इन सभी सवालों का जवाब 'नहीं' है.

यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि बिहार को सिर्फ चुनावों के समय ही याद किया जाता है. चुनाव के समय बड़े बड़े वादे करते हैं लेकिन चुनाव के बाद बिहार के किसान और उनकी समस्याएं सरकार और नेताओं के लिए अदृश्य हो जाती हैं. केंद्र में बिहार की हिस्सेदारी इस बार अधिक है लेकिन इसके बावजूद भी बिहार के साथ ऐसा सौतेला व्यवहार किया जा रहा हैं. इस अनदेखी के लिए न केवल केंद्र सरकार बल्कि बिहार के नेताओं को भी जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहली बार राजगीर आ रहे हैं. वह 19 जून को नालंदा विश्वविद्यालय के नवनिर्मित परिसर का उद्घाटन करे...
18/06/2024

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहली बार राजगीर आ रहे हैं. वह 19 जून को नालंदा विश्वविद्यालय के नवनिर्मित परिसर का उद्घाटन करेंगे. इस समारोह में देश-विदेश के छात्र और अन्य गणमान्य अतिथि भी शामिल होंगे. प्रधानमंत्री मोदी उद्घाटन के बाद छात्रों को संबोधित करेंगे और नालंदा विश्वविद्यालय के महत्व और उसकी ऐतिहासिक धरोहर पर बात करेंगे. यह कार्यक्रम नालंदा विश्वविद्यालय के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा.

कढ़ी बड़ी: बिहार का एक स्वादिष्ट पारंपरिक व्यंजनभारत के विभिन्न राज्यों में अनेक प्रकार के स्वादिष्ट और विविध व्यंजन पाए...
15/06/2024

कढ़ी बड़ी: बिहार का एक स्वादिष्ट पारंपरिक व्यंजन

भारत के विभिन्न राज्यों में अनेक प्रकार के स्वादिष्ट और विविध व्यंजन पाए जाते हैं. इनमें से एक महत्वपूर्ण व्यंजन है बिहार का पारंपरिक कढ़ी बड़ी. यह व्यंजन न केवल अपने अद्वितीय स्वाद के लिए जाना जाता है, बल्कि इसमें बिहार की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर की झलक भी मिलती है.
बिहार में कढ़ी बड़ी का विशेष महत्व है. यह व्यंजन विशेष अवसरों और त्योहारों पर बनाया जाता है और इसे परिवार और मित्रों के साथ साझा करना एक पारंपरिक प्रथा है.
कढ़ी बड़ी बिहार का एक अत्यंत स्वादिष्ट और लोकप्रिय व्यंजन है जो अपने अनोखे स्वाद और परंपरा के लिए जाना जाता है. इसे घर पर बनाना न केवल सरल है, बल्कि यह आपकी थाली में बिहार के स्वाद की झलक भी लाता है. अगर आपने अभी तक कढ़ी बड़ी का स्वाद नहीं लिया है, तो इसे अवश्य करें और बिहार की इस लाजवाब रेसिपी का आनंद लें.
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मिडिया और बिहार के राजनीतिक गलियारों में एक चर्चा जोड़ पकड़ रही है कि जदयू को केंद्र में बड़ा मंत्रालय नहीं मिला, क्योंक...
11/06/2024

मिडिया और बिहार के राजनीतिक गलियारों में एक चर्चा जोड़ पकड़ रही है कि जदयू को केंद्र में बड़ा मंत्रालय नहीं मिला, क्योंकि नीतीश खुद इसके लिए ज्यादा इक्ष्छुक नहीं थे! ये कितना सही है या नहीं, ये तो नीतीश कुमार ही बताएंगे मगर 12 पार्टी वाले जदयू को केंद्र में बड़ा मंत्री नहीं मिलना और नीतीश की चुप्पी सबको खल रही है।

राजनीति के जानकार मानते हैं कि नीतीश कुमार जब भी किसी नेता को आगे बढ़ाया है उनके तरफ से नीतीश को धोखा ही मिला। सबसे पहले उन्होंने खुद इस्तीफा देकर जीतन राम मांझी को मुख्यमंत्री बनाया, मांझी ने नीतीश के खिलाफ ही बगावत कर दिया। फिर केंद्र में अपने करीबी आरसीपी सिंह को मंत्री बनाया, आरसीपी सिंह नीतीश के बजाए मोदी के हो गए। ऐसे में अब नीतीश फूंक - फूंक के कदम रख रहे हैं। कहा जा रहा है कि नीतीश नहीं चाहते कि कोई उनकी पार्टी में उनसे ज्यादा लाइमलाइट में आए। वो मंत्रीपद से ज्यादा केंद्र से बिहार के लिए विशेष सहयोग चाहते हैं ताकी राज्य में वो अपनी छवि चमका सके। इसके साथ केंद्र में दखलंदाजी न करने के बदले वो बिहार के शासन में बीजेपी का ज्यादा हस्तक्षेप नहीं चाहते!

आपको क्या लगता है?
10/06/2024

आपको क्या लगता है?

बिहार के मंत्रियों को विभाग का बटवारा कर दिया गया है। इसपर आपका क्या विचार है?
10/06/2024

बिहार के मंत्रियों को विभाग का बटवारा कर दिया गया है। इसपर आपका क्या विचार है?

चिराग पासवान, ललन सिंह, जीतनराम मांझी और गिरिराज सिंह को प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाले एनडीए सरकार में कैबिनेट मंत्र...
09/06/2024

चिराग पासवान, ललन सिंह, जीतनराम मांझी और गिरिराज सिंह को प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाले एनडीए सरकार में कैबिनेट मंत्री बनने की बधाई! उम्मीद हैं इन मंत्रियों को महत्वपूर्ण विभाग का दायित्व दिया जायेगा।

मोदी जी को हार्दिक शुभकामनाएं लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने के लिए 🎉. जय हिन्द जय भारत 🇮🇳
09/06/2024

मोदी जी को हार्दिक शुभकामनाएं लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने के लिए 🎉. जय हिन्द जय भारत 🇮🇳

No other brand can beat the taste of "Sudha Lassi" Tag your friends ☺️
08/06/2024

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चुनाव नतीजों आने के बाद यह साफ़ हो गया था कि इस बार भाजपा को सरकार बनाने के लिए अपने सहयोगी पार्टियों की जरूरत है. इसी क...
08/06/2024

चुनाव नतीजों आने के बाद यह साफ़ हो गया था कि इस बार भाजपा को सरकार बनाने के लिए अपने सहयोगी पार्टियों की जरूरत है. इसी कारण नीतीश कुमार की भूमिका सरकार में बहुत अहम हो गई है, इसको देखे हुए एक बार फिर से बिहार को विशेष दर्जा देने वाली बात जोरों शोरों से उठने लगी है. बहुत लोग इस बात से अनजान है कि किसी राज्य को विशेष दर्जा प्राप्त होने के बाद क्या क्या फायदे मिलते हैं. आइए जानते हैं इसके क्या फ़ायदे है.

भारतीय संविधान के अनुच्छेद 371 के तहत किसी राज्य को विशेष दर्जा दिया जा सकता है और इसके मिलने पर राज्य को निम्नलिखित लाभ मिलता है:

1. अधिक वित्तीय सहायता: विशेष राज्य को केंद्र सरकार से अधिक वित्तीय सहायता मिलती है. इसके तहत राजस्व घाटा अनुदान, योजनागत अनुदान और परियोजना विशेष अनुदान शामिल होते हैं.

2. रियायती ब्याज दरें: विशेष राज्य को विभिन्न योजनाओं के तहत ऋण पर रियायती ब्याज दरें मिलती हैं, जिससे विकास परियोजनाओं को तेजी से पूरा करने में मदद मिलती है.

3. कर छूट: विशेष राज्य को केंद्र और राज्य सरकार के करों में छूट मिलती है. यह व्यापार और उद्योग के लिए अनुकूल माहौल बनाता है और निवेश को आकर्षित करता है.

4. केंद्र की योजनाओं में प्राथमिकता: विशेष राज्य को केंद्र सरकार की योजनाओं में प्राथमिकता मिलती है, जिससे वहां के लोगों को लाभ जल्दी मिलता है.

5. बुनियादी ढांचे का विकास: विशेष राज्य को बुनियादी ढांचे के विकास के लिए अतिरिक्त अनुदान मिलता है, जिससे सड़कों, पुलों, बिजली, और पानी की सुविधाओं में सुधार होता है.

6. कृषि और ग्रामीण विकास में समर्थन: विशेष राज्य को कृषि और ग्रामीण विकास के लिए अधिक संसाधन मिलते हैं, जिससे किसानों और ग्रामीण क्षेत्रों की आर्थिक स्थिति में सुधार होता है.

7. शैक्षिक और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार: विशेष राज्य को शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार के लिए अतिरिक्त वित्तीय सहायता मिलती है, जिससे वहां की जनसंख्या की जीवन गुणवत्ता में सुधार होता है.

8. आपदा प्रबंधन: विशेष राज्य को प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए अधिक संसाधन और वित्तीय सहायता मिलती है, जिससे आपदाओं के प्रभाव को कम किया जा सकता है.

ये लाभ विशेष राज्य को तेजी से विकास करने और सामाजिक-आर्थिक असमानताओं को दूर करने में मदद करते हैं.

इस जानकारी को अधिक लोगों तक पहुंचाए ताकि वो भी जान सके.

जेडीयू ने आज आधिकारिक तौर से एनडीए एलायंस को अपना समर्थन दिया है और नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के समर्थन से एनडीए फिर ...
07/06/2024

जेडीयू ने आज आधिकारिक तौर से एनडीए एलायंस को अपना समर्थन दिया है और नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के समर्थन से एनडीए फिर से तीसरी बार सरकार बनायेगी. इस तीसरे कार्यकाल में जेडीयू समेत सभी क्षेत्रीय पार्टियों के पास अच्छा मौका है की अपने अपने क्षेत्र के मुद्दे को सरकार में रहते हुए पूरा करा सके.

जेडीयू ने अपना समर्थन तो दे दिया है अब आने वाले दिनों में यह देखना दिलचस्प होगा कि जेडीयू के नेताओं के पास कौन कौन से मंत्रालय आते हैं या उनका सरकार में क्या हिस्सेदारी होगा.

आज सुबह से ही ट्विटर/X पर   ट्रेंड कर रहा है. बता दें कि Aapna Bihar  ने सोशल मीडिया पर सबसे पहले इसके लिए आवाज उठाया था...
07/06/2024

आज सुबह से ही ट्विटर/X पर ट्रेंड कर रहा है. बता दें कि Aapna Bihar ने सोशल मीडिया पर सबसे पहले इसके लिए आवाज उठाया था और फिर बाद में जेडीयू ने भी मांग किया बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने के लिए. बिहार के लिए शुरुआत से ही हमारा यह मांग रहा है. हमें ट्विटर पर भी फॉलो करें Aapna_Bihar.

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07/06/2024

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नीट (NEET) परीक्षा, जो पूरे देश में मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश के लिए आयोजित की जाती है, एक बार फिर विवादों में घिर गई है...
06/06/2024

नीट (NEET) परीक्षा, जो पूरे देश में मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश के लिए आयोजित की जाती है, एक बार फिर विवादों में घिर गई है। हाल ही में हुई नीट परीक्षा का पेपर लीक होने की खबरें आई हैं, जिसने छात्रों, अभिभावकों और पूरे शिक्षा जगत को झकझोर कर रख दिया है। यह कोई पहली बार नहीं है जब नीट पेपर लीक का मामला सामने आया है, लेकिन बार-बार ऐसी घटनाओं का होना हमारे शिक्षा तंत्र और सरकार की जवाबदेही पर गंभीर सवाल खड़े करता है।

नीट पेपर लीक का मामला बेहद चिंताजनक है। यह न केवल उन लाखों छात्रों की मेहनत पर पानी फेरता है, जिन्होंने दिन-रात मेहनत करके इस परीक्षा की तैयारी की है, बल्कि यह हमारे शिक्षा तंत्र की निष्पक्षता और पारदर्शिता पर भी सवाल उठाता है। आखिर क्यों और कैसे हर साल नीट जैसी महत्वपूर्ण परीक्षा का पेपर लीक हो जाता है? सरकार और संबंधित प्राधिकरण इस मुद्दे को गंभीरता से क्यों नहीं लेते?

इस विवाद के केंद्र में सबसे बड़ा सवाल यह है कि सरकार और संबंधित एजेंसियां इस तरह की घटनाओं को रोकने में नाकाम क्यों हो रही हैं? क्या हमारे परीक्षा तंत्र में इतनी कमजोरियां हैं कि बार-बार पेपर लीक हो जाता है, या फिर इसके पीछे किसी बड़ी साजिश का हाथ है? सरकार को इस मामले की गहन जांच करानी चाहिए और दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा देनी चाहिए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।

इस पेपर लीक विवाद ने यह स्पष्ट कर दिया है कि हमारे शिक्षा तंत्र में सुधार की बहुत जरूरत है। सरकार को इस मामले को गंभीरता से लेना चाहिए और त्वरित और प्रभावी कदम उठाने चाहिए, ताकि भविष्य में हमारे छात्रों का भविष्य सुरक्षित रहे और उन्हें निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से शिक्षा प्राप्त करने का मौका मिले।

सरकार की जवाबदेही तय होनी चाहिए और छात्रों के हितों की रक्षा के लिए ठोस कदम उठाए जाने चाहिए। यह सरकार का कर्तव्य है कि वह हमारे छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ न होने दे और एक निष्पक्ष और पारदर्शी शिक्षा प्रणाली सुनिश्चित करे।

इस बार के लोकसभा चुनाव के रिज़ल्ट में कुछ आश्चर्यजनक नतीजे आए हैं। जिसमें से एक बिहार के आरा लोकसभा सीट का रिज़ल्ट भी है...
06/06/2024

इस बार के लोकसभा चुनाव के रिज़ल्ट में कुछ आश्चर्यजनक नतीजे आए हैं। जिसमें से एक बिहार के आरा लोकसभा सीट का रिज़ल्ट भी है।

सीपीआई (एमएल) के सुदामा प्रसाद ने आरा सीट पर 2024 के आम चुनावों में भारत के पूर्व बिजली मंत्री राज कुमार सिंह को हरा दिया है। बिजली क्षेत्र में अपने उल्लेखनीय काम के लिए जाने जाने वाले सिंह ने देश के बिजली ग्रिड में उल्लेखनीय सुधार किया था और बिजली वितरण में लंबे समय से चली आ रही समस्याओं का समाधान किया था।

अपने कार्यकाल के दौरान, सिंह के सुधारों के कारण देश में बिजली की मांग अभूतपूर्व रूप से 197.06 गीगावाट तक पहुँच गई। उन्होंने अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं को आगे बढ़ाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जिससे भारत के ऊर्जा परिदृश्य पर काफी प्रभाव पड़ा।

अपने निर्वाचन क्षेत्र में अपनी उपलब्धियों और समर्पित प्रयासों के बावजूद, सिंह को प्रसाद ने हराया, जो आरा में मतदाताओं की भावना में बदलाव को दर्शाता है और बताता है कि चुनाव में स्थानीय मुद्दे हावी रहें हैं। सिंह के अपने प्रशासनिक करियर में केंद्रीय गृह सचिव के रूप में उल्लेखनीय योगदान दिया है, जिसमें उन्होंने महत्वपूर्ण राष्ट्रीय सुरक्षा कई महत्वपूर्ण कार्यों को अंजाम दिया।

सुदामा प्रसाद की जीत आरा के राजनीतिक इतिहास में एक नया अध्याय है, जबकि भारत के बिजली क्षेत्र और शासन में राज कुमार सिंह के योगदान का बहुत सम्मान किया जाता रहेगा।

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‘अपना बिहार’ बिहार का प्रमुख एवं लोकप्रिय सोशल पोर्टल है। बिहार से जुड़े लाखों आम से लेकर खास लोग इसके जरिए बिहार से जुड़े हुए हैं। फेसबुक, ट्विटर, व्हाट्सअप हो या इंस्टाग्राम जब भी बिहार की बात होती है तो अपना बिहार का नाम जरूर आता है। बिहार से जुड़े हर मौके और हर अवसर पर ‘अपना बिहार’ सोशल मीडिया और पोर्टल के जरिए सबसे तेज, व्यापक, विश्वसनीय और जमीनी रिपोर्टिंग और कवरेज करके दुनिया भर में फैले लाखों-करोड़ों बिहारियों को सदा अपने मिट्टी, संस्कृति, समाज और अपने राज्य से जोड़कर रखता है ताकि कोई रोटी की तलाश में अपने मातृभूमि से अलग भी हो तो उसे दूरी का एहसास न हो।

ज्ञात हो कि यह ‘अपना बिहार’ ही है जिसने टॉपर्स घोटाले के नाम पर बिहार और पूरे बिहारी प्रतिभा के खिलाफ हुए नकारात्मक प्रचार के जवाब में सोशल मीडिया पर बिहार से जुड़ा अबतक का सबसे बड़ा और सुप्रसिद्ध मुहिम चलाया था, #MatBadnamKaroBiharKo, जिसने सोशल मीडिया पर बिहार को बदनाम करने की साजिश को नाकाम कर दिया था । सुपर 30 के संस्थापक आनंद कुमार, आईपीएस कमल किशोर, फोर्ब्स पत्रिका में दुनिया के टॉप 30 युवा उद्यमियों में शुमार शरद सागर और बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने भी इस मुहिम का समर्थन और सराहना किया था|

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