02/01/2025
# यौमे विलादत की खुशी पर हजरत शैखुल इस्लाम सैयद मोहम्मद मदनी मियां की हयाते जिंदगी के नूरानी लम्हात।
हुजूर शैखुल-इस्लाम वल -मुस्लेमीन फरजंदे गौस आजम रईसुल-मोहक्केकीन सैयेदुल-मुतकल्लेमीन
हजरत अल्लामा मुफ्ती 'सैयद मोहम्मद मदनी अशरफ अशरफियुल जिलानी' जिसका मअना खूब तारीफ किया हुवा है. वो जाते गिरामी तारीफ के मोहताज नहीं. वलियोंकी नगरी किछौछा शरीफ के खानदान ए कादरियह अशरफीयह के रूहानी व दिनी माहोलमे ये आफताब ए शरीयत व तरीकत 14वी सदी हिजरी में पूरी आबोताब के साथ जलवागर हुवे। जिसकी ईमानी,रूहानी, दीनी,हक्कानी रोशनी ने अरब व अजम, एशिया व यूरोप,अमेरिका व आफ्रीका, इंग्लिस्तान व ऑस्ट्रेलिया,हिंद व बैरूने हिंद के लाखो दिलो को मुन्नवर व मुजल्ला फरमाया।
आप इल्म का वो समंदर है जिसकी तुग्यानी न जाए
मुफस्सिर,मुहक्किक,मुफ्ती ऐसे के जमानेके ओलमा आपको अपना इमाम व रईसुल-मोहक्किन
जाने और माने। खतीब ऐसे के जिसका खिताब दिलोमें उतरता हुवा कुरआन महसूस हो. मोहदिष इब्ने मोहदिष ऐसे के 'तफहिमुल-हदिष' का खजाना बांटते हुवे नजर आए.मुर्शीद ऐसे के जिस पर नजरे हिदायत डाल दे. वो इंसान रुश्दो हिदायत का पैकर बन जाए. उस मोहसिने मिल्लतकी हयाते तैयबहके नूरानी लम्हात व दीनी खिदमातको तारीख के आईनेमें मुलाहजा करे।
#1938 # : 28 ऑगस्ट ब-मुताबिक हिजरी सन 1357, माहे रज्जबुल-मुरज्जबकी पहली तारीख इतवारकी रातमे किछौछा शरीफके रूहानी,इरफानी,माहोलमें विलादते बा-सआदत हुई.
#1947 # : कीछौछा के मद्रस ए अशराफिया में नाजेरह, कुरआन, इब्तेदाई उर्दू व और दुनियावी तालीम भी गांव की स्कुलमे हासिल की.
#1951 # : 14 साल,3 माह,10 दिनकी उम्रमे माहे शव्वाल की 10वीं तारीखको आलिम व फाजील दर्जेकी तालीम हासिल करनेके लिए उत्तर प्रदेशके मुबारकपुर कस्बेके दारुल-उलूम अशरफियामें दाखिला लिया।
#1954 # : नअत,मनकबत,हम्द वगैरकी शेअरो शाऐरी शुरू की.और अपना तखल्लुस रखा।
#1961 # : 25 दिसंबर बरोज पीर ब-मुताबिक 16 रज्जबुल-मुरज्जब हिजरी 1381 में कीछौछा शरीफमे आपके वालीदे गिरामी हुजूर मोहदिष ए आजम हिंद का इंतेकाल हुवा।
#1962 # : ब-मुताबिक 25 शव्वाल ही.स 1381 को अपने मामूजान शैखुल-मशाइख हजरत अल्लामा सैयद मोहम्मद मुख्तार अशरफ सरकार ए कलां के मुरीद व खलीफा हुवे. बाद खिलाफत हासिल होने पर आपने दुनियाके अक्सर मुलकोमे लाखो लोगोंको अपने हाथ पर मुरीद बनाया और सैंकडोंको खिलाफतसे नवाज कर सिलसिलेकी इशाअत की. इसी साल से तबलीगी दौरा शुरू किया
सबसे पहले आपने बहराईच शरीफमें खिताब फरमाया. और देखते ही देखते उत्तरप्रदेश,बिहार,
बंगाल,कर्नाटक,आंध्रा,मध्यप्रदेश,राजस्थान,गुजरात
हिंद व बैरूने हिंदके अक्सर मुल्कों और गांवों में 40 साल तक खिताबत व दीनी खिदमात फरमाई।
#1962 # : ब-मुताबिक माहे शव्वाल ही.स 1381 को हुजूर मोहद्दिष ए आजम हिंद के चहल्लूमके मौके पर ओलमा व मशाइख व अकाबीरके इजतेमा में आपको आपके वालीदे गिरामिका जानशीन बनाया गया। सुबहानअल्लाह
#1963 # : ब-मुताबिक 1382,13 रमजानको आपके नाना-जान शैखे तरीकत अल्लामा सैयद मुस्तफा अशरफ अशरफियुल जिलानी ने भी आपको सिलसिलेकि खिलाफत से नवाजा। इसी साल जनवरी ब-मुताबिक 10 शव्वाल 1382 की 25 साल,1 माह,10 दिनकि उम्रमे दारुल-उलूम अशरफिया से आलिम व फाजिलकी सनद हासिल की और 'आलीमे दिन व फाजिले उलुमें इस्लामिया' बने।
#1964 # : जमाअते इस्लामिके तीन सवालातके जवाबात में 'फरीजऐ दअवतो तबलीग' किताब तस्नीफ फरमा कर 'दारुतस्नीफ़ मुबारकपुर जी. आजमगढ़ से शाऐअ फरमाई।
#1967 # : माहे जनवरीमे जमाअते इस्लामीके मौलाना मौदुदी साहबके 'लफ्जे दिन' के गलत मफहुमका जाऐजह, रद और इस्लाह करनेवाली किताब 'दिन और इकामते दिन' तस्नीफ़ फरमा कर पहली बार शाऐअ की।
#1967 # : माहे जनवरीमें जमाअते इस्लामीके मौलाना मौदुदी साहबके 'लफ्जे इलाह' के गलत मफहुमका जाऐजह, रद और इस्लाह करनेवाली किताब 'इस्लामका तसव्वुरे इलाह और मौदुदी साहब' तस्नीफ़ फरमाई। सुन्नी जमीअतुल-ओलमा की फिलस्तीन कोंफरंस मुंबई में शिरकत फरमाई।
#1970 # : हदिषकी मशहूर किताब 'मिश्कात शरीक' की शरह उर्दू जबानमे लिखना शुरू किया जो हर महीने माहनामा 'अल-मिजान' में 'तफ हिमुल-हदिष' के नामसे छपती रही।
#1972 # : अल-जमीअतुल-अशरफिया की निशाते शानीयहमे अमली शिरकत फरमाई।
#1973 # : में 'हज्जे बैतुल्लाह व जियारत ए मदीना मुनव्वरा' अपनी वालेदह माजेदह मखदूम ए मिल्लत सैयदह फातेमह साहेबा व गाजी ए मिल्लत व बड़ी बहन व अजीज भानजे सूफी सैयद जहांगीर अशरफके साथ पहली बार अदा की।
#1974 # : में पहली बार इंग्लिस्तानके ब्रिस्टन, डीयूजबरी,ब्रेडफोर्ड, साउथ हेमटन,बोस्टन, ब्लैकबर्न,लेंकस्टर, बरतानिया, लिस्टर, लाइकरोष, लंदन,मैनचेस्टर, डर्बी, वगैरह में 25 शहरोका तबलीगी दौरा किया जिसमे 30 खुतबात फरमाए. और हजारों लोगों को रहे हक्क की हिदायत फरमाई।इसी साल बरतानिया में तंजीमी खिदमात के लिए 'जमाअते रजा ए मुस्तफा' की बुनियाद डाली।इसके इलावा ऑल इंडिया सुन्नी लिंगके सरपरस्त और ऑल इंडिया जमीअतुल-ओल्मा के सदर बनकर दीनी खिदमात की।
#1976 # : यूरोप में 'दूसरी' बार तबलीगी दौरा फरमाया।
#1980 # : माहे अगस्त की 18 तारीखको 'मोहदिष ए आजम मिशन' कायम किया जिसकी 40 ब्रांचे गुजरात,कर्नाटक, यू.पी,मे.पी, व बैरूने हिंदमे अमरीका,आफ्रीका, इंग्लिस्तान,यूरोप,में कायम की,जो दीनी खिदमात कर रही थी।इस साल बरतानिया में हुई तकरीरों की किताब 'खुतबाते बरतानिया' शाऐअ की।
#1981 # : ता.14 अक्टूबर बरोज बुध ब-मुताबिक 16 जिलहज्ज 1401 को आपकी वालेदह मखदुम्ह सैयदह फातेमह साहिबजादी ए सैयद अहमद अशरफ अशरफियुल जिलानी किछौछा में इंतेकाल हुवा।इसी साल माहे मई में 'इमामे अहमद रजा और ताराजिमका तकाबुली मुताअला' किताब लिखी।
#1983 # : 25,26 दिसंबर को पहली बार 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोंफरनस' राजा मोहल्ला बोरसद गुजरात में की।
#1984 # : 25,26 दिसंबर को दूसरी बार 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोंफरनस' नबीपुर गुजरात में की।
#1985 # : अपने वालीदे गिरामी हुजूर मोहदिष ए आज़म ए हिंद का तरजमऐ कुरआन 'मअरिफुल कुरआन' हिंदी,उर्दू, गुजराती लिपिमे शाऐअ किया। इसी साल नवम्बर में 'मुस्लिम पर्सनल लॉ या इस्लामिक लॉ' किताब लिखी। इसी साल हुकूमते पाकिस्तान की जानिब्से होने वाली 'इंटरनेशनल शिरत कोंफरंस' "पैगंबर ए इस्लाम एक बे मिशाल के रूप में" इस उनवान पर मजमून लिख कर भेजा।इसी साल सितंबर में मोरेशियश का तबलीगी दौरा किया।
#1986 # : आफ्रीका के मल्ली,मलावी, ज़ाम्बिया, वगैरा इलाको में तबलीगी दौरा फरमाया।इसी साल 25 26 दिसंबर को पांडु मेवास बड़ौदा में 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोंफरनस' की। इसी साल हुबली कर्नाटक में अरबी कॉलेज इदारह कायम किया।
#1987 # : टी.वी और विडियो के शरई इस्तेमाल के 'फतवा और तहकीकी मालूमात' पर 315 पेज की जखिम किताब शाऐअ फरमाई। इसी साल माहे दिसंबर में टी.वी और विडियो के शरई इस्तेमालके फतवे पढ़ कर मोहदिष ए पाकिस्तान सैयद सईद अहमद काजमी साहब में आपको 'रईसुल मोहक्केकिन' का लकब दिया। इसी साल 25 26 दिसंबर मदार टेकरी जबलपुर में 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोन्फरंस' की।
#1988 # : ब-मुताबिक ही.स 1405 1 रमजान की एक कोन्फरंस में औरतोके लिखनेके जाईज नाजाईज होनेके मसाइल पर एक किताब 'किताबते निस्वा' लिखी। इसी साल खेड़ा गुजरात में 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोन्फरंस' की।
#1989 # : में 25 26 दिसंबर को 'मोहद्दिष ए आजम ए हिंद कोन्फरंस' की।
#1990 # : अमरीका के केनेडा वगैरा बड़े बड़े शहरों में पहली बार तबलीगी दौरा किया।
#1992 # : 24 मार्च ब-मुताबिक 17 रमजान ही. स 1412 की 'लाउडस्पीकर पर नमाज जाईज' होनेका फतवा दिया।
#1994 # : कीछौछा शरीफ में '1 से 5 क्लास तक नर्सरी स्कूल' कायम करवाई।
#1995 # : हम्द, नअत, मनकब्तो का मजमूअ किताब 'कुल्लियाते मदनी' शाऐअ की।
#1996 # : गुजरात के करजन शहर में 'मदनी इस्लामिक सट्डी सेंटर एंड साबरी एज्युकेशन ट्रस्ट' की सरपरस्ती कुबूल फरमाई और इफ्तेताह किया।
#1997 # : कीछौछा शरीफ में मोहदिष ए आजम मिशन के मातेहत 6 से 8 क्लास तक प्रायमरी स्कूल कायम करवाई। इसी साल ब्लैकबर्न में मोहदिष ए आजम मिशन कायम किया जो दीनी खिदमात अंजाम देता है। इसी साल हज्जे बैतुल्लाह व जियारत ए मदीना मुनव्वरा ,बगदाद, कूफा,करबला,नजफ, सामरा,जेरिको,बेथमेल, इब्रॉन,सीरिया, दमिस्क,जेनेबिया, वगैर के मजारात की जियारते की. इसी सफर में हजरत ए अली की सियादत पर एक इजलासमे बयान फरमाया।
#1998 # : अपने वालीदे गिरामी हुजूर मोहदिष ए आजम ए हिंद की किताब 'रसूले अकरम के तशरीई इख्तियारात' की शरह हाशियह और तकमेला लिखा।
#1999 # : बरतानिया में आपके 25 साला दीनी खिदमात पर मोहदिष ए आजम मिशन ब्लैकबर्न की जानिब से आपकी 'सिल्वर ज्यूबिली' मनाई गई।
#2001 # : 30 जुलाई को मिश्कात 'तफहिमुल हदीष' उर्दू में पहली बार ग्लूबल इस्लामिक मिशन न्यूयॉर्क अमरीका से शाऐअ हुई। तीसरी बार हज्ज़े बैतुल्लाह वजियारत ए मदीना मुनव्वरा की हाजरी हुई। इसी साल मआरिफुल कुरआन ग्लुबल इस्लामिक मिशन न्यूयॉर्क अमरीका से शाएअ किया। इसी साल आपके वालिद की लिखी हुई पहले पारे की तफसीर "सैदुत्ततफसीर" पहली बार ग्लूबल इस्लामिक मिशन न्यूयॉर्क अमरीका से शाएअ हुई।
#2002 # : मोहदिष ए आजम मिशन के मातेहत कीछौछा शरीफ में हाईस्कूल कायम की।
#2003 # : खबरे मुस्तफिज रुयते हीलाल 'चांद देखने की खबर को ब - जरिए टेलीफोन जाईज होना का फतवा लिखा।
#2004 # : 'तज्जलियाते सुखन' शाएअ की।
#2005 # : में फ्यूरिक के रदमे बराए हिदायत 'तहिफए हिदायत' किताब लिखी। इसी साल आपके तहकिकी खुतबात 'गैरुल्लाह से मदद मोहब्बते रसुल रूहे ईमान' वगैरह किताब लिखी।
#2006 # : आपकी बयान हुई 'तफसीर ए हद्दुहा' हैदराबाद की शैखुल इस्लाम एकेडमी से शाएअ हुई।
#2007 # : माहे मई की 17 से 26 तारीख आपने तुर्किस्तान के मुकद्दस मुकामात की जियारत की।
इसी साल हैदराबाद में आपकी बयान की हुई तकरीर मेअराज अब्दियत के नामसे शाएअ की ।
इसी साल 5 दिसंबर ब-मुताबिक 23 जिल-कअदह
1428 बरोज़ मंगल आपकी जवजए पाक मखदूम्ह सैयदह शमीमह खातून विसाल अहमदाबाद के हॉस्पिटल में हुवा. आपको मुसा सुहाग कब्रस्तान में दफन किया गया.
#2008 # : माहे सितंबर 7 तारीख ब-मुताबिक 6 रमजान 1429 बरोज सनिचर आस्तान ए हुजूर मोहदिष ए आजम ए हिन्द के सज्जादानशीन हजरत अल्लामा सैयद हसन असकरी मियां अशरफ अशरफियुल को मुकर्रर फरमा कर तहरीरी ऐलान फरमाया।
इसी साल 16 अक्टूबर बरोज पर पांचवे पारेकी तफसीर शुरु की।
इसी तारीख की सैयद हमजा मियां को अपना जानशीन बनाया।
#2009 # : 23 मोहरम 1430 को तफ्सीरे अशरफी के पांचवे पारेकी तफसीर मुकम्मल की।
इसी साल 5 अप्रिल को इंग्लिस्तान और अमेरिका का दौरा फरमाया।
#2011 # : मार्च में वागरा जी.भरूच गुजरात में कानफरंस में शिरकत फरमाई।
#2015 # : में इंग्लिस्तान का दौरा किया।
#2016 # : में फिर एक बार अपने दोनो शहजादों के साथ हजरत में इंग्लिस्तान का दौरा किया।
#2022 # : में फिर एक बार आपने इंग्लिस्तान का दौरा किया।
हुजूर शैखूल इस्लाम का ये सवानेही खाका व दीनी खिदमात के बयान के लिए मुख्तसर तहरीर नहीं है. आपकी तकरीरी खिदमात तो इस कदर है की अगर आपके 40 साल के सिर्फ बयान की लिख कर शाएअ किया जाए तो 4000 से ज्यादा किताबे होती है।जो एक लायब्रेरी का खजाना है । उन में चंद बयान किताबी शक्ल में आ चुके है। इरफाने औलिया,हकीकते नमाज,रहमते आलम,दिलो का चैन, रसूले खलाइक, अजमते मुस्तफा,आदम की खता रब की अदा,इन्नामल अमालो बीन्नियात वगेर किताबे छप चुकी है।
अल्लाह हजरत की उम्र में बरकत अता करें और उम्र ए खिज्र अता करें और हर मुसीबत से महेफुज फरमाए आमीन सुम्मा आमीन।
#उनकी यादों में जो टपका अश्क "अख्तर"आंख से
#मंजिलत में अर्श का तारा नजर आने लगा।
Written by
खलीफा ए शैखुल इस्लाम सैयद अबुल महमूद कारी नुरुद्दीन करचवी करजन गुजरात इंडिया 🖋️🖋️