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फरवरी/मार्च में बैंगन के पौधे को अपने घर पर गमले में बहुत आसानी से उगा सकते हैं। बैंगन के बीज आप कृषि बीज भंडार की दुकान...
02/02/2025

फरवरी/मार्च में बैंगन के पौधे को अपने घर पर गमले में बहुत आसानी से उगा सकते हैं। बैंगन के बीज आप कृषि बीज भंडार की दुकान से या ऑनलाइन खरीद सकते हैं।
बैंगन के पौधे को उगाने के लिए 50% मिट्टी और 50% गोबर की खाद या वर्मीकम्पोस्ट लेंगे। फिर इनको अच्छे से मिक्स करके गमले या सीडलिंग ट्रे में भर लीजिए। इसके बाद मिट्टी के ऊपर बैंगन के बीजों को बिखेरकर मिट्टी से अच्छे से ढ़क दीजिए। ध्यान दें कि बीजों को ज्यादा नीचे नही ढ़कना हैं, नहीं तो बीज अंकुरित नही होंगे। इसके बाद पानी डालकर गमले या सीडलिंग ट्रे को सेमी-शेड वाली जगह पर रख दीजिए, जहां सुबह की 3-4 घंटे की हल्की धूप आती हो। लगभग 8 से 10 दिन में बीज अंकुरित होने लगेंगे। जब पौधे 4-5 इंच के हो जाए तो उनको 12 इंच या उससे बड़े गमले या ग्रो बैग में ट्रांसप्लांट कर दें। पौधे को फुल-सनलाइट में रखें और इसमें पानी तभी डालें जब इसकी मिट्टी सूखी दिखाई दें। बैंगन के पौधे की अच्छी ग्रोथ के लिए इसमें हर महीने 1-2 मुट्ठी वर्मीकम्पोस्ट या गोबर की खाद जरूर डालें। लगभग 55 से 60 दिन बाद बैंगन के पौधे पर फूल आना शुरू हो जाते हैं।

#बैंगन

3 ऐसे पौधे जो आपके गार्डेन को खुशबू से महका देंगे । चंपा , मधुकमिनी और मोगरा का पौधा जरूर लगाएं मार्च के महीने में। इसके...
02/02/2025

3 ऐसे पौधे जो आपके गार्डेन को खुशबू से महका देंगे । चंपा , मधुकमिनी और मोगरा का पौधा जरूर लगाएं मार्च के महीने में। इसके फूल बहुत ही खूबसूरत और सुगंधित होते है ।

#मोगरा #मधुकामिनी #चंपा #पौधे

मोगरा / जैस्मिन के पौधे में भर-भर के फूल चाहिए तो फरवरी में ये 3 काम जरूर करें ताकि आपके पौधे पर मार्च-अप्रैल से लेकर अक...
01/02/2025

मोगरा / जैस्मिन के पौधे में भर-भर के फूल चाहिए तो फरवरी में ये 3 काम जरूर करें ताकि आपके पौधे पर मार्च-अप्रैल से लेकर अक्टूबर-नवम्बर तक फूलों की कमी नहीं होगी।

1. रिपाॅटिंग :- फरवरी के महीने में मोगरा की रिपाॅटिंग कर सकते हैं। अगर आपका पौधा 2-3 साल से एक ही गमले में लगा हुआ हैं तो उसमें रूट्स-बाउंड की समस्या आ सकती हैं, जिसके कारण पौधे पर फूल कम खिलते हैं। इससे बचाव के लिए फरवरी के महीने में पौधे को गमले से निकालकर उसकी एक्स्ट्रा रूट्स (जड़ों) को काटकर निकाल दीजिए या फिर किसी बड़े गमले में ट्रांसप्लांट कर दीजिए।

2. प्रूनिंग :- फरवरी महीने में मोगरा के पौधे की प्रूनिंग कर सकते हैं। इसके लिए पौधे की सभी ब्रांचेस की हल्की कटाई-छंटाई कर दें ताकि पौधे पर नये-नये ब्रांचेस निकले। जितने ज्यादा ब्रांचेस होगी उतने ज्यादा फूल खिलेंगे। फरवरी का महीना प्रूनिंग करने के लिए सबसे उपर्युक्त माना जाता हैं।

3. खाद डालें :- फरवरी-मार्च के महीने में पौधे की ग्रोथ पुन: शुरू हो जाती हैं, इस समय पौधे को अधिक पोषक तत्व की जरूरत पड़ती हैं। इसके लिए गमले की 2-3 इंच गहराई तक मिट्टी निकालकर उसमें वर्मीकम्पोस्ट / गोबर की खाद, नीम खली और बोनमील मिलाकर डाल सकते हैं।

मोगरा के पौधे पर यह 3 काम आपने कर लिया तो आपके पौधे पर पूरे साल फूलों की कमी नहीं होगी।

#मोगरा #जैस्मिन

अपराजिता को बीज से बहुत आसानी से उगा सकते हैं। अगर आपके पास पहले से अपराजिता का पौधा हैं तो उसकी फलियां जब पककर सूख जाए ...
31/01/2025

अपराजिता को बीज से बहुत आसानी से उगा सकते हैं। अगर आपके पास पहले से अपराजिता का पौधा हैं तो उसकी फलियां जब पककर सूख जाए तो उनको तोड़कर निकाल लीजिए या किसी परिचित के घर पर अपराजिता का पौधा हैं तो उनसे अपराजिता की कुछ सूखी फलियां मांग लीजिए।
अपराजिता का पौधा उगाने के लिए 50% मिट्टी, 30% गोबर की खाद और 20% बालू लीजिए, फिर तीनों को अच्छे से मिक्स करके गमले में भर लीजिए। इसके बाद मिट्टी में 1/2 या 1 इंच की गहराई में इन बीजों को दबा दीजिए और पानी डालकर गमले को ऐसे जगह रख दीजिए, जहां सुबह की 5-6 घंटे की धूप आती हो। इसकी मिट्टी में हल्की नमी बनाकर रखें लेकिन ज्यादा पानी ना डाले। लगभग 10-12 दिन में अपराजिता के बीज अंकुरित होने लगेंगे। जब पौधे 7-8 इंच के हो जाए तो उन्हें निकालकर 12 इंच के गमले में या जमीन में लगा दीजिए।

#अपराजिता #पौधे #शंखपुष्पी

आजकल लोग घर पर गमले में, छत पर, बालकनी में, बगीचे में, फल-फूल-सब्जी आदि लगाना पसंद करते हैं। लेकिन पौधों के अच्छे विकास ...
31/01/2025

आजकल लोग घर पर गमले में, छत पर, बालकनी में, बगीचे में, फल-फूल-सब्जी आदि लगाना पसंद करते हैं। लेकिन पौधों के अच्छे विकास के लिए खाद की आवश्यकता पड़ती है। खाद बाजार से खरीदने के बजाय घर पर भी तैयार कर सकते हैं। इससे खर्चा भी नहीं होगा। जिसमें आलू के छिलके से भी खाद बनाई जा सकती है।

🔹 आलू के छिलके की खाद कैसे बनाएं👇

सबसे पहले हम आलू के छिलकों को इकट्ठा कर लेंगे।
इसके बाद एक बर्तन में पानी भरकर छिलकों को डाल देंगे।
छांव वाली जगह में तीन से चार दिन तक इस मिश्रण को रखेंगे।4 घंटे के अंतराल में इसे किसी लकड़ी की मदद से मिलाना है।समय होने के बाद दूसरे बर्तन में से छान ले।
फिर जितना पानी रहेगा उसमें उतनी ही मात्रा में सादा पानी मिलाए। शक्तिशाली लिक्विड फर्टिलाइजर तैयार है, आप पौधे की मिट्टी की गुड़ाई करके इसे डाल सकते हैं।

🔹आलू के छिलके की खाद के फायदे👇
▪️पोटैशियम- आलू के छिलके की खाद में पोटेशियम होता है, जिससे पौधों की जड़ और फूलों की वृद्धि होती है।
▪️नाइट्रोजन- इसमें नाइट्रोजन होता है जिससे पत्तों की हरियाली और तने की मजबूती मिलती है।
▪️फॉस्फोरस- आलू के छिलके की खाद में फास्फोरस होता है जिससे जड़े मजबूत होती है और फल-फूल का विकास होता है।
▪️मैग्नीशियम- इसमें मैग्नीशियम होता है जिससे पौधों में क्लोरोफिल बनाने और प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया बढ़िया से होती है।
▪️कैल्शियम- इस खाद में कैल्शियम होने से कोशिका निर्माण और पौधों को बीमारियों से दूर रखा जा सकता है।

#खाद #पौधे #आलू

अगर आप काम की वजह से  कुछ दिनों तक घर से बाहर रहते हैं या आपको पौधे में पानी डालने का समय नहीं मिल पाता और ऐसे में अक्सर...
30/01/2025

अगर आप काम की वजह से कुछ दिनों तक घर से बाहर रहते हैं या आपको पौधे में पानी डालने का समय नहीं मिल पाता और ऐसे में अक्सर आपके पौधे बिना पानी के सूख जाते हैं तो ये कुछ ऐसे पौधे हैं जो बिना पानी के कई हफ्तों तक बहुत आसानी से सरवाइव कर लेते हैं।

1. अडेनियम (Adenium):- इसे रेगिस्तानी गुलाब (Desert rose) भी कहते हैं, इसे अच्छी जल निकासी वाली रेतीली मिट्टी में लगाये जिसमें पर्याप्त पोषक तत्व मौजूद हो। इस प्लांट को बहुत कम पानी की जरूरत होती हैं।

2. स्नेक प्लांट (Sansevieria):- इसे "मदर इन लॉ टंग" और "संसेविया" के नाम से भी जाना जाता हैं। यह प्लांट बिना पानी के कई हफ्तों तक बहुत आसानी से सर्वाइव कर लेता हैं। यह प्लांट रात में ऑक्सीजन छोड़ता हैं और हवा को शुद्ध करता हैं।

3. एलोवेरा (Aloe vera):- यह एक औषधीय गुणों वाला पौधा हैं, इसे बहुत कम पानी की आवश्यकता होती हैं और कम देखभाल के कारण यह पौधा घर में बहुत आसानी से लगा सकते हैं।

4. रबर प्लांट (Rubber Plant):- यह प्लांट हवा में मौजूद हानिकारक गैसों को सोख लेता हैं और बड़ी मात्रा में ऑक्सीजन छोड़ता हैं। इस प्लांट को तेज धूप से बचाकर रखें और इसमें बहुत कम पानी डालें।

5. कैलांचो (Kalanchoe):- कैलांचो खासतौर पर अपने रंग-बिरंगे फूलों के लिए प्रसिद्ध हैं। इसे सूरज की हल्की रोशनी और कम पानी की आवश्यकता होती हैं।

6. जेड प्लांट (Jade Plant):- इसे ‘मनी ट्री’ भी कहा जाता हैं, यह एक बहुत ही लोकप्रिय सर्कुलेंट प्लांट हैं। यह बिना पानी के कई दिनों तक बहुत अच्छे से सर्वाइव कर लेता हैं। जेड प्लांट को कटिंग से बहुत ही आसानी से ग्रो कर सकते हैं।

एलोवेरा को हमेशा सेमी शेड में उगाएं क्योंकि धूप में इसके पत्ते पीले पड़कर खराब हो सकते हैं। इसके पत्तों में पानी की मात्...
30/01/2025

एलोवेरा को हमेशा सेमी शेड में उगाएं क्योंकि धूप में इसके पत्ते पीले पड़कर खराब हो सकते हैं। इसके पत्तों में पानी की मात्रा अधिक होती है, इसलिए इसको कम पानी की जरूरत होती है।

#एलोवेरा

अगर आप चाहते है कि आपके गार्डेन में गुलाब की अच्छी खुशबू आए तो आप देसी गुलाब का पौधा लगाएं। हाइब्रिड गुलाब के फूल देखने ...
30/01/2025

अगर आप चाहते है कि आपके गार्डेन में गुलाब की अच्छी
खुशबू आए तो आप देसी गुलाब का पौधा लगाएं। हाइब्रिड गुलाब के फूल देखने में बड़े और सुंदर तो होते हैं लेकिन उनमें खुशबू नहीं होती।

#गुलाब #पौधा

बसंत में हल्दी का पौधा गमले में बहुत आसानी से  उगाया जा सकता है । हल्दी उगाने के लिए, कच्ची हल्दी को कुछ दिनों के लिए पे...
30/01/2025

बसंत में हल्दी का पौधा गमले में बहुत आसानी से उगाया जा सकता है । हल्दी उगाने के लिए, कच्ची हल्दी को कुछ दिनों के लिए पेपर में लपेटकर छाया वाली जगह पर रखें। इससे हल्दी में से रूट्स निकल आएंगे। इसके बाद, 50% मिट्टी और 50% वर्मीकम्पोस्ट या गोबर की खाद का मिश्रण तैयार करें और इसे 12*12 इंच के गमले या ग्रो बैग में डालें। हल्दी को हल्का सा दबाकर मिट्टी में गाड़ दें और सुनिश्चित करें कि हल्दी का अंकुरित हिस्सा ऊपर की ओर हो। इसके बाद, स्प्रे पंप या वाटर कैन की मदद से पानी दें और सेमी-शेड वाली जगह पर रख दें, जहां 6 से 8 घंटे की हल्की धूप आती हो। हल्दी को गर्म तापमान की आवश्यकता होती है, इसलिए इसे ठंडी जगह से दूर रखें। हल्दी के पौधे को हर महीने गोबर खाद या वर्मीकम्पोस्ट से खाद दें। कुछ हफ्तों में, आप हल्दी के पौधे की पत्तियां उगते हुए देखेंगे। हल्दी की कंदों को तब तक गमले में रहने दें जब तक पौधे की पत्तियां पीली न हो जाएं। फिर, कंदों को हार्वेस्ट करके सुखा लें और भविष्य के उपयोग के लिए स्टोर कर दें।

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#हल्दी

रोजमेरी आयुर्वेदिक गुणों वाला पौधा हैं। रोजमेरी में एंटीऑक्सीडेंट, एंटीइंफ्लेमेटरी, और एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं, जो इ...
29/01/2025

रोजमेरी आयुर्वेदिक गुणों वाला पौधा हैं। रोजमेरी में एंटीऑक्सीडेंट, एंटीइंफ्लेमेटरी, और एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं, जो इसे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है।

■ रोजमेरी के फायदे:-

•इम्यूनिटी बूस्ट करती है रोजमेरी
• बाल झड़ने की समस्या से छुटकारा।
• दर्द कम करने में प्रभावी।
• शारीरिक व मानसिक तनाव से राहत दिलाता हैं।

■ रोजमेरी के पौधे को कैसे लगाए:-

रोजमेरी के पौधे को बीज और कटिंग दोनों तरीको से लगा सकते हैं। बीज से लगाने के लिए इसके बीज खरीदकर मिट्टी और कम्पोस्ट के मिश्रण में दबा दीजिए और पानी डालकर सेमी-शेड वाली जगह पर रख दीजिए, कुछ दिन में रोजमेरी के बीज अंकुरित होने लगेंगे। आप चाहे तो नर्सरी से इसके पौधे भी खरीदकर लगा सकते हैं।

■ रोजमेरी के पौधे की देखभाल करने के लिए, इन बातों का ध्यान रखें:-

• रोजमेरी को रोजाना 6 से 8 घंटे की धूप चाहिए।रोजमेरी को गीली मिट्टी पसंद नहीं हैं इसलिए इसमें पानी तभी डालें जब इसकी मिट्टी एक-तिहाई भाग तक सूखी दिखाई दें।रोजमेरी को पोटैशियम युक्त खाद डालें, इसके लिए आप इसमें केले और प्याज के छिलके का खाद डाले।

#रोजमेरी #आयुर्वेद

अपराजिता के पौधे में फरवरी महीने में आपको कुछ काम करने हैं जिससे आने वाले समय में मार्च से लेकर अक्टूबर तक इसमें फूलों क...
29/01/2025

अपराजिता के पौधे में फरवरी महीने में आपको कुछ काम करने हैं जिससे आने वाले समय में मार्च से लेकर अक्टूबर तक इसमें फूलों की कमी नहीं होगी-

1. प्रूनिंग– फरवरी महीने में अपराजिता के बेल की प्रूनिंग कर सकते हैं। इसके लिए सूखी जो ब्रांच है उन्हें हटा दीजिए और पुरानी ब्रांच को भी काट दें। अगर प्रूनिंग नहीं करते हैं तो फिर फूल कम आते हैं और नई शाखाएं भी नहीं बनती है। इसलिए कटाई-छटाई समय-समय पर करते रहना चाहिए, जिसमें फरवरी बढ़िया समय है।

2. खाद- आने वाले समय में अपराजिता से ज्यादा फूल लेने के लिए इस फरवरी महीने में उसकी मिट्टी की हल्की गुड़ाई करके खाद देना चाहिए। जिसमें आप पुरानी गोबर की खाद दे सकते हैं। इसके अलावा घर में कंपोस्ट या फिर रसोई घर से निकले हर कचरे से बनी खाद भी दे सकते हैं।

3. मिट्टी और जड़- फरवरी महीने में अपराजिता की मिट्टी भी बदल सकते हैं। अगर गमले में लगाया तो उसकी मिट्टी बदल सकते हैं और जड़ ज्यादा हो गई है तो जड़ों को ट्रिम /छांट सकते हैं। इससे पौधे को नुकसान नहीं होगा।

4. नीम तेल – अपराजिता की पत्तियों को कीटों से बचाने के लिए इस समय नीम तेल या का स्प्रे पत्तियों पर करें। इससे आने वाले समय में पौधे में रोग बीमारी या कीटों का प्रकोप नहीं देखने को मिलेगा। जिससे पौधा हरा भरा भी दिखाई देगा।

नोट:
अगर आप नया पौधा नई जगह पर लगाना चाहते हैं तो उसके बीजों से नया पौधा तैयार कर सकते हैं। अपराजिता की कटिंग भी लगाई जा सकती है। कटिंग लगाने के लिए फरवरी सही समय होगा।

#अपराजिता

फरवरी में अपने मोगरा के पौधे की कटिंग करना बिल्कुल न भूले। कटिंग करने से आपके पौधे में नई टहनियां और नई कलिया बनेगी जिसस...
29/01/2025

फरवरी में अपने मोगरा के पौधे की कटिंग करना बिल्कुल न भूले। कटिंग करने से आपके पौधे में नई टहनियां और नई कलिया बनेगी जिससे फूल खिलने लगेगे और आपका पौधा फूलों से भर जाएगा।

घर में आसानी से इलायची का पौधा कैसे उगाया जा सकता है। अगर इलायची का पौधा घर पर ही लगा होगा तो आपको बाजार से महंगी इलायची...
29/01/2025

घर में आसानी से इलायची का पौधा कैसे उगाया जा सकता है। अगर इलायची का पौधा घर पर ही लगा होगा तो आपको बाजार से महंगी इलायची खरीदने की जरूरत ही नहीं पड़ेगी जिससे इलायची खरीदने के पैसे भी बच जाएंगे। इसके पौधे को उगाने में ज्यादा कुछ मेहनत की जरूरत नहीं पड़ती है तो चलिए जानते है इलायची का पौधा घर में कैसे उगाते है।

घर में उगाएं इलायची का पौधा

घर में इलायची का पौधा उगाना बहुत आसान है बस आपको करना ये है की एक छोटा गमला या कंटेनर लेना है उसमे बगीचे की मिट्टी और गोबर की खाद मिलाकर भर देना है। उसके बाद 4 से 5 इलायची लेनी है और उसमे से बीज निकाल कर छिलका अलग कर देना है फिर एक कप में पानी भर के बीजों को पानी में डालकर 7 से 8 घंटे के लिए भिगोकर रख देना है फिर इलायची छानकर पानी को अलग कर लेना है और जो गमला तैयार किया था उस गमले की मिट्टी में इलायची के दानों को हल्का-हल्का दबा देना है और उपर से सुखी भुरभुरी मिट्टी को डालकर पानी की सिंचाई कर देना है। 2 हफ्ते बाद बीजों में से पौधा निकल आएगा और 2 महीने में इलायची का पौधा अच्छा तैयार हो जाएगा।

इलायची के पौधे में डालें ऑर्गेनिक खाद

अगर इलायची के पौधे में जल्दी ग्रोथ चाहिए तो ये ऑर्गेनिक खाद आपके इलायची के पौधे के लिए से बहुत ज्यादा उपयुक्त है। इसे आप घर में आसानी से तैयार कर सकते है। इसको बनाने के लिए सब्जियों के छिलके और पके हुए केले के छिलके की जरूरत पड़ेगी। इन छिलकों को पानी में 8 से 10 घंटे के लिए भिगोकर रख देना है फिर इसका उपयोग इलायची के पौधे में कर सकते है जिससे पौधे की ग्रोथ जल्दी होगी क्योकि सब्जियों और केले के छिलकों में कई पोषक तत्वों के गुण होते है जो पौधे के लिए बहुत उपयोगी साबित होते है।

#इलाइची #मसाला

एरिका पाम की अच्छी ग्रोथ के लिए इसे हमेशा सेमी शेड में ही रखे, सीधी धूप से इसके पत्ते जल जाते है और महीने में एक बार गोब...
29/01/2025

एरिका पाम की अच्छी ग्रोथ के लिए इसे हमेशा सेमी शेड में ही रखे, सीधी धूप से इसके पत्ते जल जाते है और महीने में एक बार गोबर की खाद जरूर दे। इसके साथ एरिका पाम एयर प्यूरीफायर प्लांट भी है जो हवा में मौजूद हानिकारक पदार्थो को सोखकर हवा को शुद्ध करता हैं

ज्यादातर लोगो की ये चिंता है कि उनके गुलाब के पौधे मे ग्रोथ ना के बराबर हो रही है या फूल नहीं आ रहे है , तो ये एक चीज डा...
28/01/2025

ज्यादातर लोगो की ये चिंता है कि उनके गुलाब के पौधे मे ग्रोथ ना के बराबर हो रही है या फूल नहीं आ रहे है , तो ये एक चीज डालकर आपके गुलाब के पौधे मे ग्रोथ बहुत तेजी से होगी और बंपर फ्लावरिंग भी मिलेगी 👇
आधा चम्मच एप्सम साॅल्ट (Epsom Salt ) को एक लिटर पानी मे घोल कर गुलाब के पौधे पर अच्छे से स्प्रे करें, हफ्ते भर में पौधा में ग्रोथ दिखने लगेगी 👇

#गुलाब #पौधा

फरवरी के महीने में हरी मिर्च को आप अपने घर पर बहुत आसानी से उगा सकते हैं। इसके लिए कम से कम 12 इंच का गमला या ग्रो बैग क...
28/01/2025

फरवरी के महीने में हरी मिर्च को आप अपने घर पर बहुत आसानी से उगा सकते हैं। इसके लिए कम से कम 12 इंच का गमला या ग्रो बैग का इस्तेमाल करें। सबसे पहले मिर्ची के बीजों को मिर्ची से निकालें और 24 घंटे के लिए पानी में भिगो दें। एक ग्रो बैग में 50% मिट्टी, 30% वर्मीकम्पोस्ट या गोबर की खाद, और 20% रेत (बालू) लें और 2 मुट्ठी नीम खली को अच्छे से मिलाएं। मिट्टी में अपने उंगली से हर 2-3 इंच की दूरी पर 1/2 इंच गहरा छेद बनाएं और उसमें बीजों को डालकर, हल्की मिट्टी से ढक दें और पानी डालें। गमले या ग्रो बैग को ऐसी जगह रखें जहां सुबह की 5-6 घंटे की धूप आती हो। इसकी मिट्टी में हल्की नमी बनाकर रखें, लगभग एक हफ्ते के अंदर इसके बीज अंकुरित होने लगेंगे और 50 से 60 दिन में मिर्ची हार्वेस्ट के लिए तैयार हो जाएगी।

•मिर्च के पौधे से ज्यादा मिर्ची कैसे ले?

एक पौधे में ज्यादा से ज्यादा मिर्च लेने के लिए, मिर्ची के पौधे को भुरभुरी मिट्टी में लगाएं। पौधे को हर महीने दो-तीन मुट्ठी गोबर की खाद जरूर दें।

•मिर्च के पौधे में फूल आते है लेकिन गिर जाते है तो क्या करें?

मिर्च के पौधे में ज्यादा पानी डालने से इसके फूल गिरने लगते हैं। पौधे में पानी तभी डालें जब इसकी मिट्टी सूखी दिखाई दें। अक्सर बहुत से लोगों की समस्या रहती हैं कि उनके मिर्च के पौधे पर फूल तो आते हैं लेकिन फल नहीं बनते हैं। इसके लिए उन्हें राख को पानी में मिलाकर पौधे में डालना चाहिए। इससे फूल भी नहीं गिरेंगे और फल भी आयेंगे, लेकिन यह तभी करें जब मिर्च के पौधे में फूल आ गये हो या आने वाले हो।


#मिर्ची #हरिमिर्च

अगर आप गार्डन में पत्थरचट्टा का पौधा लगाना चाहते हैं तो फिर आपको सही बीज या सही पौधे का चुनाव करना बहुत ज़रूरी है। पत्थरच...
28/01/2025

अगर आप गार्डन में पत्थरचट्टा का पौधा लगाना चाहते हैं तो फिर आपको सही बीज या सही पौधे का चुनाव करना बहुत ज़रूरी है। पत्थरचट्टा का पौधा या बीज आप नर्सरी से खरीद सकते हैं। नर्सरी में अच्छे से किस्म के पौधे आसानी से मिल जाते हैं।बीजों के अलावा पत्तों से भी उगा सकते हैं यह पत्थरचट्टा का पौधा।
पत्थरचट्टा की उगाने के लिए पोटिंग मिक्स तैयार करें, जिसमें 60 प्रतिशत मिट्टी, 20 प्रतिशत कोको पीट और 20 प्रतिशत रेत मिलाएं।

पत्थरचट्टा की देखभाल:
पत्थरचट्टा के पौधे को रोजाना कम से कम 4 से 5 घंटे धूप की जरूरत होती है।पौधे में पानी तभी डालें जब मिट्टी सूखी दिखे।हर दो महीने में एक बार खाद दें।

पत्थरचट्टा के फायदे:

पत्थरचट्टा अपने औषधीय गुणों के लिए जाना जाता है। यह पौधा विटामिन, खनिज और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है, जो शरीर को कई तरह के लाभ पहुंचाता है।

•पत्थरचट्टा किडनी स्टोन को दूर करने में मदद करता है।
•पाचन तंत्र को मजबूत करता है।एसिडिटी और सीने में जलन जैसी पाचन समस्याओं में भी मदद कर सकता है।
•त्वचा को स्वस्थ और चमकदार बनाने में मदद करता है और बालों को मजबूत और स्वस्थ बनाता है।
•मधुमेह रोधी गुण होते हैं जो मधुमेह को नियंत्रित करने में मदद करते हैं।
•एंटी-चिंता और एंटी-डिप्रेसेंट गुण होते हैं जो तनाव और चिंता को कम करने में मदद करते हैं।
•बुखार को कम करने में मदद कर सकता है।
•मौखिक स्वच्छता, मसूड़ों की सूजन और उपचार में मदद कर सकता है।

प्रयोग कैसे करें:

आप जूस या काढ़ा बनाकर पथरचट्टा का सेवन कर सकते हैं।
पत्तियों को उबालकर दूसरी सब्जियों के साथ खा सकते हैं।
हालांकि, यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि पथरचट्टा के पौधे का उपयोग करने से पहले किसी योग्य आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह लेनी चाहिए या अपने डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

#आयुर्वेद #दवाई #पथरी

अगर आपका तुलसी जी का पौधा सूख जाता हैं, पौधे के पत्ते झड़ जाते है या पौधा घना नही होता तो इन टिप्स को फॉलो करें -1. तुलस...
27/01/2025

अगर आपका तुलसी जी का पौधा सूख जाता हैं, पौधे के पत्ते झड़ जाते है या पौधा घना नही होता तो इन टिप्स को फॉलो करें -

1. तुलसी की अच्छी ग्रोथ के लिए उसे हमेशा फूल सनलाइट में रखें , जहां रोजाना कम से कम 6-8 घंटे धूप मिल सके और पौधे को कम से कम 12 इंच वाले गमले में लगाए जिसे जड़े स्वतंत्र रूप से फैल सके।

2.पौधे की अच्छी ग्रोथ के लिए हर महीने गोबर की खाद या वर्मीकम्पोस्ट डाले। पौधों में खाद डालने से पहले हमेशा मिट्टी की गुड़ाई जरूरी किया कीजिए और खाद डालने के बाद पौधे को अच्छे से पानी दे।

3.तुलसी के पौधे में ओवर-वाटरिंग के कारण इसकी जड़ों में फंगस लग जाता हैं और पौधा सुख जाता है इससे बचाव के लिए जब भी तुलसी का पौधा लगाएं तो 70% मिट्टी और 30% रेत का इस्तेमाल करें। इससे पानी ज्यादा देर तक नहीं टिकेगा और तुलसी का पौधा लंबे समय तक हरा-भरा रहेगा।तुलसी जी में पानी तभी डालें जब गमले की मिट्टी सूखी दिखे।

4.समय-समय पर मंजरियों (तुलसी के फूल) को हटा ते रहे , क्योंकि वह पौधे की सारी ऊर्जा ले लेते है और पौधे को बढ़ने नहीं देते।

#तुलसी #कृष्णा #कार्तिक

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